यहां जानें NDA की जीत के पांच फैक्टर

यहां जानें NDA की जीत के पांच फैक्टर

Patna: बिहार ने एक बार फिर नीतीश कुमार पर ही भरोसा जताया है। अबकी लड़ाई बड़ी और कड़ी थी, मगर कांटे की टक्कर में जीत आखिरकार राजग की हुई। जनादेश ने फिर सत्यापित कर दिया कि आम आवाम में विकास की ललक अभी कमजोर नहीं पड़ी है। प्रदेश के साढ़े सात करोड़ मतदाताओं ने लगातार चौथी बार भी नीतीश कुमार के नेतृत्व में ही भरोसा जताया और राजग की झोली में विधानसभा की 243 में से 125 सीटें डाल दीं। इससे यह भी साबित हो गया कि बहुमत के दिल में राजग के प्रति भरोसा अभी कायम है और झंझावात में भी नीतीश कुमार के विकास फार्मूले में खरोंच तक नहीं आई। यह भी कि 15 वर्ष पहले प्रदेश की तरक्की के लिए बना रोडमैप अभी भी पूरी तरह प्रासंगिक है। 

NDA के जीत का ये रहा 5 फेक्टर-

1. राजग की जीत की बड़ी वजह नीतीश कुमार का चेहरा रहा। लोजपा के पैतरे के बावजूद भाजपा नेतृत्व ने साफ कर दिया था कि सीटों की संख्या कोई मसला नहीं होगा। भाजपा को ज्यादा सीटें आने पर भी मुख्यमंत्री नीतीश ही बनेंगे।

2. नीतीश कुमार का विकास मॉडल। युवाओं और महिलाओं का भरोसा अभी भी नीतीश कुमार के साथ है। जीविका दीदी, आशा कार्यकर्ता एवं विकास मित्र के रूप में राजग सरकार ने गांव-गांव में बड़ा नेटवर्क बना लिया है।

3. प्रतिद्वंद्वी का कमजोर पक्ष। जीत के लिए अपनी मजबूती के साथ-साथ दुश्मन की कमजोरी भी जरूरी है। महागठबंधन में सीटों का बंटवारा सही नहीं हुआ। कांग्रेस को हैसियत से ज्यादा सीटें दी गईं। पिछली बार 41 मिली थी। अबकी 70 मिल गईं।

4. लालू के वोट बैंक का ज्यादा मुखर हो जाना। दस लाख नौकरियों के वादे में आकर्षण था, लेकिन राजद के कोर वोटर जिस तरह से मुखर होने लगे, उससे अति पिछड़ी और सवर्ण जातियों में खौफ हो गया। लिहाजा दूसरी तरफ भी तेज गोलबंदी हुई।

5. आग में घी का काम किया तेजस्वी यादव का डेहरी में दिया गया भाषण, जिसमें उन्होंने लालू राज की याद दिलाई और समर्थकों को समझाने की कोशिश की कि बाबू साहबों के सामने गरीब लोग सीना तानकर चलते थे। इससे भी सवर्ण भड़के।

दिग्गज हुए ढेर

मंत्री जो हारे-रामसेवक सिंह, लक्ष्मेश्वर राय, खुर्शीद अहमद, संतोष निराला, सुरेश शर्मा, जयकुमार सिंह, शैलेश कुमार, ब्रज किशोर बिंद,

अन्य – अब्दुल बारी सिद्दीकी, उदय नारायण चौधरी, चंद्रिका राय, मुकेश सहनी

जीते

स्पीकर विजय कुमार चौधरी, जीतनराम मांझी, प्रेम कुमार, विजय कुमार सिन्हा, प्रमोद कुमार, श्रेयसी सिंह, निशा सिंह, मीणा कामत। राजद के तेजस्वी यादव, तेज प्रताप यादव।

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