Desk: कोरोना के कारण साल 2020 में जो लॉकडाउन हुआ, तब से लेकर आज तक कई लोगों के जीवन में आर्थिक संकट आ गया. कई लोगों की नौकरी छूट गई, तो कई लोगों अपने अपने तरीके से पैसे की बचत करने लगे हैं. ऐसे में इसका सबसे ज्यादा प्रभाव किसी पर पड़ रहा हैं तो वो हैं स्कूल जाने वाले बच्चे.
दरअसल राजधानी पटना के कई प्राइवेट स्कूलों में करीब 30 फीसदी बच्चों ने स्कूल छोड़ दिया हैं. स्कूल प्रशासन द्वारा फोन करने पर पेरेंटस ना तो फोन उठा रहे ना ही बच्चों की फीस भर रहे. ऐसे में जब स्कूल प्रशासन ने उन बच्चों का नाम काटना शुरु किया तो उसके बाद भी पेरेंटस के तरफ से कोई प्रतिक्रिया नहीं दी जा रहीं है.
तो वहीं कई प्राइवेट स्कूलों द्वारा फीस में अलग अलग तरह की छूट भी दी गई हैं लेकिन उसके बावजूद भी पेरेंटस को कोई फरक़ नहीं पड़ रहा हैं. इस कोरोना काल में तमाम सरकारी और प्राइवेट स्कूल सभी तरह से आगे आकर बच्चों को स्कूल भेजने के लिए अभिभआवकों को मना रहे हैं ताकि इससे बच्चों की शिक्षा पर कोई संकट ना आए. ऐसे में अभिभआवकों को आगे आकर अपने बच्चों को वापस से स्कूल जाने के लिए प्रोत्साहित करना चाहिए. साथ ही स्कूल प्रशासन को भी फीस में एक बड़ी राहत देनी चाहिए.