Patna:रील लाइफ की चकाचौंध और भागमभाग की जिंदगी जीने वाले डायरेक्टर रामवृक्ष गौड़ आज ठेला चला कर सब्जी बेचने पर मजबूर हैं. एक से एक मशहूर कलाकारों को अपने इशारों पर हंसाने और रुलाने वाले डायरेक्टर को परिवार की जिम्मेदारियों ने इस कदर जकड़ लिया है कि वे मजबूर होकर सब्जी बेचकर पेट पालन करना पड़ रहा है.
आपको बताते चले कि उत्तर प्रदेश के आजमगढ़ में डायरेक्टर रामवृक्ष अपने घर में रह रहे हैं. डायरेक्टर को रील लाइफ की चकाचौंध और भागमभाग की जिंदगी को छोड़ कर अपनी परिस्थितियों से समझौता इस कदर करना पड़ा कि उन्हें परिवार का पेट पालने के लिए सब्जी बेचनी पड़ रही है. हालांकि इन परिस्थितियों में भी उन्होंने हिम्मत नहीं हारा हैं. दरअसल लॉकडाउन में अपने बच्चे की परीक्षा दिलाने के नाम पर आए रामवृक्ष अब मुंबई का रुख नहीं कर पा रहे हैं. परिवार की जिम्मेदारियों ने इस कदर जकड़ लिया और मुंबई में फिल्मी काम बंद होने से मजबूर होकर सब्जी बेचकर पेट पालन करना पड़ रहा है. मीडिया से बातचीत में रामवृक्ष और उनके परिवार वालों ने अपनी स्थिति तो बताई परंतु अभी भी आस यही है कि जब सारी स्थितियां सामान्य हो जाएंगी तो हम भी अपने सामान्य जीवन में लौट जाएंगे.
तो वहीं डायरेक्टर की पत्नी अनिता गौड़ का कहना है की परिस्थितियां खराब हैं तो कोई गम नहीं, आज नहीं तो कल हालात सुधरेंगे. वहीं उनकी बेटी नेहा भी यह कहती हैं कि जब स्थिति सही हो जाएगी तो हम फिर मुंबई में अपने दोस्तों के साथ अपने स्कूल में पढ़ाई को कर सकेंगे. 25 से ज्यादा टीवी सीरियल और फिल्मों में डायरेक्शन का कार्य कर चुके रामवृक्ष ने बताया कि लॉकडाउन ने उनकी जिंदगी का फलसफा ही बदल दिया है. अब वह ठेले पर सब्जी बेचने को मजबूर हैं. वह सीरियल बालिका वधू, ज्योति, कुछ तो लोग कहेंगे, सुजाता जैसे सुपरहिट सीरियल का निर्देशन कर चुके हैं. उन्हें फिल्मी दुनिया का 22 साल का अनुभव है. अब यह बात आजमगढ़ के इलाके में फैल चुकी है कि इतने मशहूर सीरियल का डायरेक्टर जो अपने इशारों पर सभी बड़े कलाकारों को हंसा और रुला देता है और अभिनय का पाठ पढ़ा कर उन्हें बुलंदियों तक पहुंचा देता है, आज स्थिति ऐसी है कि रील की जिंदगी छोड़ अब रियल लाइफ में सड़कों पर घूम कर सब्जी बेच रहे हैं.