Patna: एक्टर सुशांत सिंह राजपूत को लेकर पटना में दर्ज एफआईआर के बाद मुंबई गई बिहार पुलिस की छोटी टीम ने बड़ा धमाका कर दिया है. मुंबई पुलिस का सहयोग भले ना मिला हो लेकिन टीम के चार सदस्यों ने वह तमाम सबूत जुटा डाले जो अबतक के मुंबई पुलिस की पहुंच से दूर थे.
पटना के सिटी एसपी विनय तिवारी को क्वॉरेंटाइन किए जाने के बाद बिहार पुलिस लगातार गुस्से में है. बिहार के डीजीपी अब खुलकर मुंबई पुलिस और महाराष्ट्र के डीजीपी के खिलाफ अपनी नाराजगी जता रहे हैं लेकिन सुशांत केस से जुड़ी इस वक्त की बड़ी खबर सामने आ रही है उसके मुताबिक बिहार पुलिस ने अब एक डीआईजी रैंक के अधिकारी को मुंबई भेजने की प्लानिंग की है.
सुशांत केस में अब बिहार के सुपर कॉप्स माने जाने वाले अधिकारियों में से किसी एक को बड़ी जिम्मेदारी मिल सकती है. बिहार पुलिस के अंदर खाने से आ रही खबरों के मुताबिक डीआईजी रैंक के जिस अधिकारी को मुंबई भेजे जाने की तैयारी है उनमें कई नाम सबसे ऊपर हैं. एटीएस के डीआईजी विकास वैभव, मुंगेर के डीआईजी मनु महाराज और एसटीएफ के डीआईजी विनय कुमार में से किसी एक को मुंबई भेजा जा सकता है. माना जा रहा है कि क्वॉरेंटाइन जैसे हथकंडे से बचने के लिए बिहार पुलिस के डीआईजी रैंक के अधिकारी फ्लाइट की बजाय सड़क मार्ग से मुंबई जा सकते हैं. हालांकि इस पर अभी अंतिम तौर पर कोई फैसला नहीं हुआ है.
सुशांत केस को लेकर जिन अधिकारियों के नाम की चर्चा है उनमें विकास वैभव सबसे ऊपर है. विकास वैभव फिलहाल एटीएस में डीआईजी हैं और वह एनआईए जैसी एजेंसी में काम कर चुके हैं. उनका ट्रैक रिकॉर्ड बेहद शानदार रहा है. साइलेंट रहकर आउटपुट देने वाले अधिकारियों में विकास वैभव की पहचान होती है. इसके अलावा पटना के सिंघम के तौर पर पहचान रखने वाले मनु महाराज का नाम भी चर्चा में है मनु महाराज फिलहाल मुंगेर के डीआईजी हैं लेकिन वह पटना के सीनियर एसएसपी रह चुके हैं.
पटना ही नहीं कई इंटर स्टेट केस में उन्होंने बड़ी भूमिका निभाई है. गुजरात के कारोबारियों को अपहृत करने के मामले हो या फिर कई अन्य बड़े केसेस मनु महाराज सफलता की गारंटी हैं. सुशांत केस को लेकर डीआईजी रैंक के जिस तीसरे अधिकारी की चर्चा है वह एसटीएफ के डीआईजी विनय कुमार हैं. विनय कुमार के काम करने का अंदाज बिल्कुल वैसा ही है जैसा मुंबई क्राइम ब्रांच की पुलिस करती है. मुंबई क्राइम ब्रांच के अधिकारी जिस तरह बिहार पुलिस के काम में अड़ंगा लगा रहे हैं ऐसे में उन से निपटने के लिए और जांच को आगे बढ़ाने के लिए डीआईजी विनय कुमार सबसे बेहतरीन विकल्प हो सकते हैं. हालांकि अब देखना है कि बिहार पुलिस के मुखिया इन चारों में से इस पर ज्यादा भरोसा करते हैं और इनमें से किसी को मुंबई कब भेजा जाता है.