Patna:पूर्व केंद्रीय मंत्री रघुवंश प्रसाद सिंह का आज नई दिल्ली के आॅल इंडिया इंस्टीट्यूट आॅफ मेडिकल साइंसेज (AIIMS) में निधन हो गया। वे आइसीयू (ICU) में वेंटिलेटर (Ventilator) पर थे । आइसीयू से भी अभी कल ही उनका एक पत्र नीतीश कुमार के नाम से जारी हुआ था। राजद से इस्तीफा देने वाले रघुवंश के सारे पत्र 10 सितंबर को ही लिखे हुए थे। शनिवार को फिर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार के नाम से जारी पत्र में उन्होंने वैशाली की चिंता की थी। पत्र में उन्होंने वैशाली के तालाबों को जल-जीवन-हरियाली अभियान से जोडऩे का आग्रह किया। साथ ही विश्व के प्रथम गणतंत्र के सम्मान में महात्मा गांधी सेतु रोड में हाजीपुर के पास भव्य द्वार बनाकर मोटे अक्षरों में विश्व का प्रथम गणतंत्र वैशाली द्वार अंकित कराने का आग्रह किया था।
दिनकर की वैशाली से संबंधित कविताओं का जिक्र
उन्होंने राष्ट्रकवि दिनकर की वैशाली से संबंधित कविताओं को जगह-जगह मोटे अक्षरों में लिखवाने का आग्रह किया था, ताकि आने-जाने वाले लोग दूर से ही पढ़ सकें। वहीं उन्होंने बज्जीनां सत अपरीहानियां धम्मा के अनुसार सातो धर्मो का उल्लेख जगह-जगह बड़ी दीवार पर पाली, हिंदी और अंग्रेजी में लिखवाने तथा वैशाली के उद्धारक जगदीशचंद्र माथुर की प्रतिमा लगाने का भी आग्रह किया था।
बीते एक सप्ताह से आईसीयू में हैं
बता दें कि रधुवंश सिंह ( Raghuvansh Singh) बीते एक सप्ताह से आइसीयू में भर्ती थे। एम्स के डॉक्टर लगातार उनकी निगरानी कर रहे थे।
लालू का साथ छोड़ने और नीतीश को लिखे पत्र को लेेकर चर्चा में
पूर्व केंद्रीय मंत्री डाॅ. रघुवंश सिंह ने राजद से राष्ट्रीय उपाध्यक्ष पद से हाल ही में एम्स से ही राजद प्रमुख लालू प्रसाद यादव (Lalu Prasad Yadav) को पत्र लिखकर इस्तीफा दे दिया था। इस्तीफा देने के बाद वे बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार (Nitish Kumar) तथा राजद प्रमुख लालू प्रसाद को पत्र लिखने को लेकर चर्चा में थे। लालू प्रसाद यादव के बड़े बेटे तेज प्रताप यादव के तलाक के मामले में रघुवंश प्रसाद सिंह ने चंद्रिका राय और लालू परिवार के बीच रिश्ते बनाए रखने की बात कही। इससे तेज प्रताप यादव नाराज रहे। पार्टी में रघुवंश की नाराजगी को लेकर तज प्रताप यादव ने उन्हें आरजेडी के समंदर में केवल एक लोटा पानी बता हद कर दी। तेज प्रताप ने कहा कि अगर आरजेडी से रघुवंश का एक लोटा पानी निकल भी जाए तो कोई फक नहीं पड़ेगा। खास बात यह भी रही कि बीतेे कुछ सालों के दौरान रघुवंश के मामले में तेजस्वी यादव ने चुप्पी साधे रखी थी।